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देश की पहली गरीब रथ को मिल रहे हैं राजधानी वाले डिब्बे, इस तारीख से

देश की पहली गरीब रथ को मिल रहे हैं राजधानी वाले डिब्बे, इस तारीख से

Source: Navbharat Times

Saharsa Garib rath: गरीब रथ ट्रेन को तो जानते ही होंगे। साल 2006 में तत्कालीन रेल मंत्री लालू प्रसाद यादव (Lalu Yadav) ने इसे शुरू किया था। इसको शुरू करने का उद्देश्य गरीबों को भी सस्ते में राजधानी एक्सप्रेस (Rajdhani Express) जैसी तेज चलने वाली एसी ट्रेन की सुविधा उपलब्ध कराना था। हालांकि इस ट्रेन की गति तो कमो-बेश राजधानी एक्सप्रेस वाली है। लेकिन उस समय इसके लिए जो अलग कोच डिजाइन किया गया था, उसमें वैसी सुविधा नहीं थी।देश में गरीब रथ की शुरुआत पांच अक्टूबर 2006 को हुई थी। उस दिन पहली बार बिहार के सहरसा जंक्शन से अमृतसर के लिए गरीब रथ एक्सप्रेस ट्रेन को रवाना किया गया था। इसका नंबर 12203 और 12204 है। इस ट्रेन में अब जर्मन तकनीक वाले यानी एलएचबी कोच लगाए जाएंगे। ये डिब्बे राजधानी एक्सप्रेस में लगाने के लिए जर्मनी से आयात किए गए थे।

क्या है गरीब रथ ट्रेन

गरीब लोग भी सस्ते में एसी ट्रेन में सफर कर सकें, इसके लिए गरीब रथ ट्रेन शुरू की गई थी। गरीब रथ ट्रेन की एक और विशेषता इसका समय था। इस ट्रेनों का टाइम लगभग राजधानी एक्सप्रेस जैसा था। इसलिए इसमें गरीब ही नहीं, अमीर भी बड़े शौक से चढ़ते हैं। इस श्रृंखला की पहली ट्रेन पांच अक्टूबर 2006 को चली थी। उसके बाद इस श्रृंखला में कई ट्रेनें चलाई जा चुकी हैं।

पहली गरीब रथ कौन

यूं तो इस समय देश में करीब दो दर्जन गरीब रथ ट्रेनें चल रही हैं। लेकिन देश की पहली गरीब रथ ट्रेन सहरसा से अमृतसर के बीच चलने वाली ट्रेन थी। हालांकि शुरुआत में इसका रूट सहरसा से हाजीपुर, गोरखपुर, लखनऊ, मुरादाबाद, सहारनपुर, अंबाला कैंट होते हुए अमृतसर जाती थी। बाद में इसका रूट बदल कर अंबाला से नई दिल्ली होते हुए कर दिया गया।

अब नया क्या होगा

अब इस ट्रेन में जर्मन तकनीक वाले डिब्बे लगाए जा रहे हैं। इन्हीं डिब्बों को एचएचबी कोच कहा जाता है। इन डिब्बों को पहले जर्मनी से आयात किया गया था। बाद में इसे भारत में ही बनाया जाने लगा। पहले पहल इन डिब्बों को राजधानी और शताब्दी एक्सप्रेस में लगाने के लिए आयात किया गया था। अब तो सभी ट्रेनों में एलएचबी कोच ही लगाए जा रहे हैं।

कब से लगेंगे जर्मन कोच

पूर्व मध्य रेलवे के चीफ पैसेंजर ट्रांसपोर्टेशन मैनेजर (CPTM) के कार्यालय से पिछले दिनों निकले एक नोटिफिकेशन के मुताबिक अमृतसर से रवाना होने वाली 12204 गरीब रथ में एलएचबी रैक सात अगस्त 2024 से जोड़े जाएंगे। सहरसा से रवाना होने वाली 12203 गरीब रथ ट्रेन में यह रैक आठ अगस्त 2024 से जोड़े जाएंगे। उसके बाद इस ट्रेन के यात्री इन्हीं डिब्बों का आनंद लेंगे।

एलएचबी कोच से बढ़ जाएगी सीटिंग कैपिसिटी

इस समय 12203/04 सहरसा अमृतसर गरीब रथ एक्सप्रेस में 13 एसी 3 टियर, 4 एसी चेयर कार और 2 जेनरेटर कोच रहते हैं। इसमें पेंट्री कार कोच नहीं है। जब इस ट्रेन में एलएचबी कोच लगेंगे तो एसी चेयर कार के डिब्बे हटा दिए जाएंगे। मतलब कि 20 एसी थ्री टियर इकॉनोमी कोच और दो जनरेटर कम गार्ड डिब्बा होगा। इससे एक ट्रेन में 1600 यात्रियों की सीटिंग कैपिसिटी हो जाएगी।

30 घंटे में 1523 किलोमीटर

इस समय 12203 सहरसा अमृतसर गरीब रथ एक्सप्रेस 1,723 किमी (1,071 मील) की दूरी 30 घंटे 00 मिनट (57.43 किमी/घंटा) में तय करती है। वापसी में मतलब कि 12204 अमृतसर सहरसा गरीब रथ एक्सप्रेस (58.08 किमी/घंटा) 29 घंटे 40 मिनट में यह दूरी तय करती है। चूंकि इस ट्रेन की औसत गति 55 किमी/घंटा (34 मील प्रति घंटे) से ऊपर है, इसलिए भारतीय रेलवे के नियमों के अनुसार, इसके किराए में सुपरफास्ट अधिभार शामिल है।

क्या है टाइम टेबल

12203 सहरसा अमृतसर गरीब रथ एक्सप्रेस प्रत्येक सोमवार, गुरुवार और रविवार को 15:00 बजे IST पर सहरसा जंक्शन से निकलती है और अगले दिन 21:00 बजे IST पर अमृतसर जंक्शन पहुंचती है। वापसी में 12204 अमृतसर सहरसा गरीब रथ एक्सप्रेस प्रत्येक बुधवार, शनिवार और रविवार को 04:30 बजे IST अमृतसर जंक्शन से निकलती है और अगले दिन 10:10 बजे IST पर सहरसा जंक्शन पहुंचती है।